अफगानिस्तान पर तालिबानी कब्जे को दो हफ्ते से ज्यादा हो गये है। अब तालिबान अफगानिस्तान में नई सरकार का गठन करने की तैयारी कर रहा है। पर अफगानिस्तान का एक हिस्सा जहां तालिबान राज करने में नाकाम रहा है। तालिबान विरोधी नॉर्दर्न अलायंस के कब्जे वाले पंजशीर घाटी को अपने कब्जे में लेने के लिए तालिबानी आतंकी पंजशीर घाटी में घुसने की कोशिश कर रहे। पर उनकी कोशिश नाकाम है। तालिबान ने शुक्रवार को प्रोपेगेंडा रचा था। उसने पंजशीर घाटी जीतने का दावा किया। पर कुछ देर बाद ही पंजशीर में तालिबान के खिलाफ युद्ध लड़ रहे अमरुल्लाह सालेह ने वीडियो जारी कर तालिबान के दावे को झूठा बता दिया।
अब सवाल यह है क्या पंजशीर में हर बार हारने वाला तालिबान दुष्प्रचार का सहारा ले रहा। पंजशीर जंग में किसकी जीत होगी ये तो नहीं पता पर तालिबान नॉर्दर्न अलायंस का मनोबल कमजोर करना चाहता है। एक तरफ तालिबान का दावा है पंजशीर के 4 जिलों पर तालिबान का कब्जा है। तो नॉर्दर्न अलायंस से पूर्व उपराष्ट्रपति अमरूल्ला सालेह का दावा पंजशीर पर तालिबानी कब्जे का दावा झूठा है। तालिबान का कहना है पूरे पंजशीर प्रांत पर कब्जे की तैयारी हैं। नॉर्दर्न अलायंस का दावा है 200 तालिबानी आतंकियों ने सरेंडर किया।
तालिबान यह अफवाह फैला रहा है अमरुल्लाह सालेह पंजशीर छोड़कर भाग गए। जबकि अमरुल्लाह सालेह ने खुद वीडियो जारी करकहा कि मेरे भागने की खबर झूठी है। तालिबान ने कई वीडियो जारी कर बताया कि पंजशीर में रजिस्टेंस फोर्स के टैंक और तोप पर कब्जा किया है। तालिबान ने जितनी आसानी से अफगानिस्तान को अपनी गिरफ्त में ले लिया है। उतनी जद्दोजहद उसे पंजशीर घाटी में करनी पड़ रही। मसूद के लड़ाकों ने तालिबानियों को पंजशीर की पहाड़ियों से खदेड़ दिया। नॉर्दर्न अलायंस ने साफ कर दिया है तालिबान पंजशीर पर कब्जे का ख्वाब छोड़ दे। दूसरी तरफ एक बार फिर तालिबान सरकार का गठन टल गया है।